Yeh nasha kisi
ये नशा किसी शीशी का नही जो उतर जाये,ये नशा नाथो के नाथ भोलेनाथ का हैं, जो चढ़ता ही जाय।
Read moreये नशा किसी शीशी का नही जो उतर जाये,ये नशा नाथो के नाथ भोलेनाथ का हैं, जो चढ़ता ही जाय।
Read moreयह तेरा करम था की तूने मुझे अपना दीवाना बना दिया,मैं खुद से था पराया तूने अपना बना लिया।
Read moreहीरे मोती और जेवरात तो सेठ लोग पहनते हैं,हम तो भोले के भक्त है इसीलिए “रुद्राक्ष” पहनते हैं।
Read moreकैसे कह दूँ कि मेरी हर दुआ बेअसर हो गयी,मैं जब जब भी रोया, मेरे भोलेनाथ को खबर हो गयी।
Read moreबाबा महाकाल के भक्त हैं, हर हाल में मस्त हैंजिंदगी एक धुँआ हैं, इसलिए हम चिलम मैं मस्त हैं।
Read more