अपने जिस्म को इतना ना सँवारो,
यह तो मिट्टी में ही मिल जाना हैं।
सँवारना हैं तो अपनी रूह को सँवारो,
क्योंकि उस रूह को ही महाकाल के पास जाना हैं।
अपने जिस्म को इतना ना सँवारो,
यह तो मिट्टी में ही मिल जाना हैं।
सँवारना हैं तो अपनी रूह को सँवारो,
क्योंकि उस रूह को ही महाकाल के पास जाना हैं।